समाज के प्रति हम सब की जिम्मेवारी है, जिसे समय पर पूरा करना हमारा कर्तव्य : न्यायाधीश राकेश रोशन
# दुर्घटना में घायल व्यक्ति को तुरंत लेटा देना चाहिए कभी भी नहीं बैठाना चाहिए : डॉक्टर दिनेश
# जिला स्तरीय मल्टी स्टेक कार्यशाला
धनबाद । झारखंड विधिक सेवा प्राधिकार व प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश राम शर्मा के निर्देश पर आयोजित सड़क दुर्घटना संबंधित विषय पर एक दिवसीय जिला स्तरीय मल्टी सेक होल्डर कंसल्स्टेशन कार्यशाला का उद्घाटन सिविल कोर्ट धनबाद में शनिवार को धनबाद के अवर न्यायाधीश राकेश रोशन, ट्रैफिक थाना प्रभारी मो खुर्शीद आलम, डॉक्टर दिनेश कुमार गिंडोदिया, जिला रोड सेफ्टी मैनेजर सुनील कुमार ने दीप प्रज्जवलित कर किया। इस मौके पर न्यायाधीश श्री राकेश ने कहा कि समाज के प्रति हम सब की जिम्मेवारी है जिसे समय पर पूरा करना हमारा कर्तव्य है। सड़क दुर्घटना में समय पर कागजात कोर्ट में जमा नहीं किए जाने के कारण मृतकों के परिजनों को मुआवजा नहीं मिल पाता है ।इस विषय पर पुलिस पदाधिकारियों को संदेश देते हुए न्यायाधीश ने कहा कि सर्वोच्च न्यायालय ने अपने आदेश में स्पष्ट कहा है कि सड़क दुर्घटना के मामले में किसी भी हालत में 30 दिन के अंदर दुर्घटना सूचना रिपोर्ट कोर्ट को भेज देनी है,अन्यथा थाने के भार साधक अधिकारी पर कार्रवाई हो सकती है। उन्होंने कहा कि यदि समय पर पुलिस ऐसा कर दें तो मृतक के परिजनों को तमाम मुश्किलों का सामना नहीं करना पड़ेगा यह समाज के प्रति हमारा कर्तव्य है। अधिवक्ता विप्लव दास ने कार्यशाला को संबोधित करते हुए कहा कि दुर्घटना दावा से संबंधित आवेदन घटना के छह माह के अंदर ट्रिब्यूनल में दायर कर देना चाहिए अन्यथा पीड़ित पक्ष को कानूनी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।ट्रैफिक थाना प्रभारी मो. खुर्शीद आलम ने लोगों को सावधानीपूर्वक सड़क पर गाड़ी चलाने की सलाह दी।जिला रोड सेफ्टी मैनेजर सुनील कुमार ने कहा कि असावधानी के कारण ही आए दिन दुर्घटना हो जाया कर रही है। डॉ. दिनेश गिंडोरिया ने कहा कि अब तक 12 लाख लोग भारत में सड़क दुर्घटना के कारण मौत के मुंह में जा चुके हैं उन्होंने कहा कि सड़क दुर्घटना के चार प्रमुख कारण होते हैं।बिना हेलमेट पहने गाड़ी चलाना,नशे में गाड़ी चलाना,तेजी व लापरवाही से गाड़ी चलाना,समय पर इलाज नहीं हो पाना।उन्होंने कहा कि दुर्घटना के एक घंटे के अंदर यदि संबंधित व्यक्ति को इलाज मुहैया करा दिया जाए तो उसकी जान बच सकती है।उन्होंने कहा कि दुर्घटना में घायल व्यक्ति को कभी बैठा नहीं चाहिए उसे तुरंत लेटा देना चाहिए।कार्यशाला मे लोक अभियोजक,अवधेश कुमार,अपर एवं सहायक लोक अभियोजक, डॉक्टर राजीव कुमार, विभिन्न थानों के थाना पदाधिकारी,पारा लीगल वालंटियर, मेडिएटर, डालसा के पैनल अधिवक्ता, एलएडीसीएस के,चीफ कुमार विमलेंदु,डिप्टी चीफ अजय कुमार भट्ट, सहायक कन्हैया लाल ठाकुर,स्वाति कुमारी, मुस्कान चोपड़ा शैलेन्द्र झा, सुमन पाठक समेत दर्जनों लोग उपस्थित थे।